कहते हैं कि किताबें इंसान की सबसे अच्छी मित्र होती हैं और ये बिलकुल शत-प्रतिशत सही भी है, क्योंकि किताबें ही हैं जो कभी कोई शिकायत नहीं करतीं और ना ही कोई उम्मीदें रखती हैं। और सबसे अच्छी बात किताबों की यह है कि वो कभी आपको धोखा नहीं देती बल्कि जिंदगी को आसान बनाती हैं और जिंदगी जीने के सही तरीके भी सिखा देती हैं।
किताबें उन लोगो के लिए एक वरदान होती हैं जो अंतर्मुखी होते हैं जिनके ज्यादा जानने वाले नहीं होते और ना ही ज्यादा दोस्त होते हैं, और वो अपनी भावनाएं किसी से नहीं कहते, ना ही किसी से अपनी जिंदगी की परेशानियों के हल पूछते हैं। ऐसे लोगों के लिए किताबों से अच्छा साथी कोई और नहीं होता।
अब बात करते हैं पढने की जरुरत की और इसके फ़ायदों की, क्योंकि इंसानी फितरत ही यही है कि सिर्फ फायदे की बात ही ज्यादा जल्दी समझ आती है। किताबें पढ़ना दो लिहाज से बहुत ज़रुरी है एक तो अपना भविष्य बनाने के लिए और दूसरा अपना ज्ञान बढ़ा कर जिंदगी के हर पहलू को समझने के लिए।
जब एक बच्चा अपने स्कूल की शुरुआत करता है तो वह किताबों से परिचित होता है और उसकी किताबें भी बड़ी ही रोचक होती हैं। रंगीन तस्वीरों की सजावट और कलात्मक ढंग से लिखे हुए अक्षर उन किताबों को ज्यादा आकर्षक बना देते हैं और बच्चा उन किताबों की तरफ आकर्षित होता है जिज्ञासु बनता है।
रीडिंग की आदत के कई फ़ायदे हैं जो व्यक्तिगत तौर पर हर जगह मददगार होती हैं आइये जानते हैं किताब पढ़ने के क्या फ़ायदे हैं-
सकारात्मकता और कल्पनाशीलता बढ़ती है– प्रतिदिन किताबें पढने का शौक रखने वाले लोगों की तुलना में किताबें न पढने वाले लोगो में कल्पनाशीलता और सकारात्मकता कम होती है, क्योकिं पढने से हमारे दिमाग के एंजाइम रिलीस होते हैं जिससे सोच का दायरा बढ़ता है. जितना ज्यादा पढ़ा जाएगा उतना ही सोच को परिपक्व बनाया जा सकता है, और ज्ञान प्राप्त होता है और जब ज्ञान अच्छा हो तो आपके आसपास के लोग भी आपको मानते हैं। रीडिंग दिमागी एकाग्रता भी बढ़ाती है।
बोलने और सुनने की कला का विकास होता है– पढ़ने की आदत का सबसे बड़ा फायदा यह है कि पढ़ने से हमारे पास शब्दों का भंडार हो जाता है, और जब कही कुछ बोलना होता है किसी विषय को लेकर तो ज्ञान और शब्द भंडार दोनों होने का फायदा मिलता है, साथ ही पढने से एकाग्रता बढ़ती है जो हमारे अंदर सरल और सहज हो कर किसी को सुनने की कला का भी विकास करती है और एक अच्छा स्पीकर होने के लिए अच्छा सुनने वाला बनना ज़रुरी है।
ज्यादा से ज्यादा जानने की जिज्ञासा बढ़ती है– हम जब कोई किताब पढ़ते हैं और वो बहुत रोचक लगने लगती है तो हम उसके बारे में आगे भी पढने के लिए आतुर रहते हैं और जानने की कोशिश में लग जाते हैं कि इसके आगे क्या होगा और फिर किताब को पढ़ते जाते हैं जब तक सब कुछ ना जान ले उस किताब के बारे में. यही आदत फिर रोज़ की जिंदगी में भी बन जाती है और मन में ज्यादा से ज्यादा जानने की उत्सुकता पैदा होती है जो एक अच्छा संकेत होता है सफलता पाने का.
तनाव से राहत देती हैं किताबें– आज के व्यस्त समय में हर किसी के जीवन में भागदौड़ है और बहुत तनाव भरी दिनचर्या भी हो गई है, और इन सब का असर मानसिक और शारीरिक होता है, दिमागी तौर पर कमजोर होने से शरीर भी कमजोर होता है और रचनात्मकता और अच्छे सुझावों की कमी हो जाती है।
दिमागी तनाव को दूर करने का सबसे अच्छा तरीका है किताबें पढ़ना. जी हाँ रीडिंग की आदत आपको तनाव से बाहर निकालेंगी, क्योकिं जब हम किताबें पढ़ते हैं तो पाठक लेखक द्वारा बनाई गई दुनिया में खो जाता है और पढ़ने वाला इंसान हर लिखे गए शब्द के पीछे छुपे अर्थ को समझने की कोशिश करता है और जब वो यह करता है तो दिमागी तनाव वाले विचार कम हो जाते हैं।
समस्याओं का निदान मिलना आसान हो जाता है किताबों से– अगर किताबों की बात की जाए तो किताबों भी कई प्रकार की होती हैं, और इन प्रकारों में बहुत सी किताबें ऐसी होती हैं जो जिंदगी की अलग अलग मुश्किलों पर आधारित होती हैं। इन किताबों से जिंदगी की अलग अलग मुश्किलों को ना सिर्फ समझा जा सकता है बल्कि इन मुश्किलों के हल भी निकाले जा सकते हैं। जीवन की मुश्किलों को हल करने के तरीकों को किताबें ईमानदारी से आपको बताती हैं और सबसे बड़ी मददगार साबित होती हैं।
निर्णय क्षमता बढ़ती है- अगर आप किताबें नहीं पढ़ते हैं तो आप उन लोगों की तुलना में, सही निर्णय लेने में नाकाम रहेंगे, जो खूब किताबें पढ़ते हैं। जी हाँ किताबें पढने वाले लोगो के पास हर बात को, अलग अलग पहलुओं से देखने और समझने की क्षमता होती है और वो अच्छे और सटीक निर्णय ले पाते हैं।
अच्छी नींद के लिए लाभदायक– यह अनुभव तो हर किसी को हुआ होगा कभी न कभी। यह एक साबित किया हुआ तथ्य है कि जब रात को नींद ना आने की परेशानी हो तो किताबें पढ़ी जाएँ। इससे बहुत आरामदायक और सुकून भरी नींद आती है और पता भी नहीं चलता की किताब पढ़ते हुए कब नींद आ गई। अच्छी नींद के लिए अच्छी किताबों का चुनाव ज़रुरी है क्योंकि जब हम मोबाईल या फिर किसी स्क्रीन पर कुछ पढ़ते हैं तो नींद नहीं आती लेकिन जब किताबें पढ़ते हैं तो नींद जल्दी आती है।
किताबों से थैरेपी जैसा फायदा- किताबें सिर्फ कुछ जुड़े हुए कागज़ों का समूह नहीं होती। किताबें आपको आरामदायक और अच्छा अनुभव भी प्रदान करती हैं। जब मानसिक थकान दूर करने या फिर ऐसे ही रिलेक्स करने का मन करे तो अपनी पसंदीदा किताब के साथ शांत और सुन्दर माहौल में वक्त बिताने से आंतरिक शांति का अनुभव होता है।
तो आज से ही किताबों की दुनिया में अपना साथी खोजने की कोशिश करें, क्योंकि ये सही कहा गया है कि किताबों से अच्छा कोई साथी नहीं होता, जो आपका साथ आपके अकेलेपन में दे और आपको दुखी भी ना करे।