15 अगस्त आने वाला है और सरकार इसकी तैयारियां जोर-शोर से कर रही है। भारत को आज़ादी मिलने वाले इस दिन के मौके पर देशभक्ति के तरानों का बजना तो लाजमी है। आजादी के इस दिन पर वंदेमातरम गाने का एक अलग ही महत्व है। ये वो गीत है जो हिंदुस्तानियों में देशभक्ति की भावना को भर देता है।
15 अगस्त के मौके पर हर स्कूल में, हर कॉलेज में और कई संस्थानों में राष्ट्रगान और राष्ट्रगीत गाए जाते हैं लेकिन अब यूपी में एक नया फरमान आया है जो ख़ासतौर पर मदरसों के लिए है। यूपी प्रशासन ने एक नोटिस जारी किया है जिसके अनुसार यूपी के 8000 मदरसों में 15 अगस्त के मौके पर वंदेमातरम गाया जाएगा और इसकी वीडियोग्राफी की जाएगी।
शहीदों को दी जाएगी श्रद्धांजलि
योगी आदित्यनाथ ने ये सुनिश्चित करने का फैसला किया है कि 15 अगस्त को हर हाल में मदरसों में शहीद को श्रद्धांजलि दी जाए और सांस्कृतिक कार्यक्रमों को संपन्न किया जाए। इसके लिए यूपी मदरसा परिषद बोर्ड की ओर से 3 अगस्त को जिला अल्पसंख्यक अधिकारी को एक पत्र भेज कर निर्देश दिया गया है कि स्वतंत्रता दिवस के मौके पर सुबह आठ बजे झंडारोहण एवं राष्ट्रगान होगा। सुबह 8 बजकर 10 मिनट पर अमर शहीदों को श्रद्धांजलि दी जाएगी। इन सभी कार्यक्रमों की वीडियोग्राफी तथा फोटोग्राफी कराकर अल्पसंख्यक अधिकारी को सौंपने का भी निर्देश दिया गया है।
यूपी के इतिहास में पहली बार
यूपी के इतिहास में ये पहली बार हो रहा है कि जब इस तरह से वीडियोग्राफी कर मदरसों पर नज़र रखी जाएगी। आपको बता दें कि इस वक्त यूपी में लगभग 8000 मदरसें हैं जो मदरसा परिषद के तहत आते हैं। इनमें से 560 मदरसे ऐसे हैं जो पूरी तरह से सरकार से मिले वित्तीय सहायता से चलते हैं।
कुछ संगठन हैं नाराज
योगी सरकार के इस फैसले से कुछ मुस्लिम संगठनों ने तो समर्थन जताया है लेकिन कुछ संगठनों ने इस पर ऐतराज जताया है। मदरसा प्रबंधक हाजी सैयद तहव्वर हुसैन का कहना है कि आजादी के जंग में देश के लिए मदरसों ने बढ़चढ़ कर लड़ाईयां लड़ी हैं उसके बाद भी सरकार उन्हें शक की नजर से देख रही है।
इसके उलट वंदेमातरम को लेकर एक और विवाद सामने आया है। शिवसेना सांसद संजय राउत ने कहा है कि जो भी वंदे मातरम नहीं गाएगा उसे देश से भगा देना चाहिए। ये बयान उस समय सामने आया जब 10 अगस्त को बीएमसी ने अनुदित स्कूलों में वंदेमातरम को अनिवार्य करने का प्रस्ताव पास किया।