पहले भी कई बार एड कंपनी ने अपनी पब्लिसिटी के लिए देवी-देवताओं के चित्रों का इस्तेमाल किया है, जिसे लेकर केस भी दर्ज हुए हैं। हाल ही में ऐसा ही हुआ ऑस्ट्रेलिया में। जहां भगवान गणेश के अपमान को लेकर वहां के हिंदू समुदाय में लोगों में आक्रोश दिख रहा है। दरअसल, बात ये है कि पिछले दिनों ऑस्ट्रेलिया के मीट एंड लाइवस्टॉक ऑस्ट्रेलिया कंपनी ने एक विज्ञापन जारी किया है , जिसमें भगवान गणेशजी को अन्य धर्मों के भगवान के साथ मीट की टेबल पर बैठे दिखाया गया है। जैसे ही ये विज्ञापन लोगों ने देखा, लोगों का गुस्सा फूट पड़ा। लोगों ने कहा कि ये हमारे धर्म का अपमान है। साथ ही हमारे भगवान ऐसा कभी नहीं करते। इस विज्ञापन से हिंदू धर्म का दिल दुखा है।
दरअसल आस्ट्रेलिया की, मीट एंड लाइवस्टॉक ऑस्ट्रेलिया (एमएलए) कंपनी के इस विज्ञापन में भगवान गणेश के अलावा यीशु, बुद्ध, थॉर और जीसस को खाने की एक टेबल के चारों ओर बैठकर मेमने का मांस खाते हुए देखाया गया है। विज्ञापन में कहा गया है कि, ‘टू लैंब–द मीट वी कैन ईट ऑल’, यानि ‘मेमने के मांस को हम सभी खा सकते हैं। इस विज्ञापन को लेकर इंडियन सोसाइटी आॅफ वेस्टर्न आॅस्ट्रेलिया के प्रवक्ता नितिन वशिष्ठ ने विज्ञापन को असंवेदनशील करार दिया है।
हालांकि इससे पहले एमएलए के ग्रुप मार्केटिंग मैनेजर एंड्रयू हॉवी ने इस कैंपेन के लॉन्च के दौरान कहा था, ‘नई कैंपेन को ‘यू नेवर लैंब अलोन’ के तहत जारी रखा जाएगा। इसमें दिखाया गया है कि भले ही आप किसी भी धर्म में आस्था रखते हैं, लेकिन एक चीज है जिस पर सब एकजुट हो सकते हैं और वह है लैंब’।
फिलहाल इस ऐड कैंपेन पर जन्मे विवाद और हिन्दुओं की आस्था से हुए खिलवाड़ को देखते हुए यही कह सकते हैं कि एमएलए ने भगवान गणेश को इस विज्ञापन का हिस्सा बनाकर बड़ी भूल की है।