बिहार की राजनीति काफी दिनों से गरमाई हुई थी। यहां पर लालू की पार्टी और नीतिश की पार्टी के गठबंधन को तोड़ने को लेकर कई बातें की जा रही थी। इसी कड़ी में अब सीएम नीतिश कुमार ने इस गठबंधन को तोड़ने के लिए अपना इस्तीफा राज्यपाल केशरीनाथ त्रिपाठी को अपना इस्तीफा सौंप दिया।
बीजेपी के खिलाफ विपक्षी एकता को इसे सबसे बड़ा झटका माना जा रहा है। बुधवार की शाम अचानक बिहार से नाटकीय घटनाक्रम देखने को मिलने लगा है। दोपहर में आरजेडी की बैठक के बाद लालू और तेजस्वी यादव, दोनों ने ही दावा किया था कि महागठबंधन पर कोई खतरा नहीं है। लालू ने तो यहां तक कहा था कि उनकी नीतीश कुमार से बात होती रहती है और उन्होंने कभी तेजस्वी से इस्तीफा नहीं मांगा है, लेकिन कुछ ही घंटे में तस्वीर बदल गई।
आरजेडी की बैठक खत्म होने के बाद शाम करीब पांच बजे जेडीयू की बैठक शुरू हुई। बैठक खत्म होते ही नीतीश कुमार ने राज्यपाल से मिलने का मन बना लिया। सूत्रों के मुताबिक विधायक दल की बैठक में नीतीश कुमार ने यह साफ कर दिया था कि कड़े फैसले लेने का वक्त आ गया है।