कानपुर में बोले पीएम, युवाओं के हाथों में हुनर से देश का विकास
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कानपुर । उत्तर प्रदेश के कानपुर में सोमवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी परिवतर्न रैली को संबोधित कर रहे हैं। मोदी ने यहां इंडियन इंस्ट्टियूट ऑफ स्किल्स की आधारशिला रखी । कानपुर में रैली संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि उत्तर प्रदेश में परिवर्तन की लहर नहीं परिवर्तन की आंधी चल पड़ी है। ऐसा लग रहा है कि आने वाले चुनाव में यूपी का हर नागरिक परिवर्तन का संकल्प पूर्ण करने के लिए जी जान से जुट गया है। उन्होंने आगे कहा कि भारत खुशकिस्मत है कि उसके पास 65 फीसदी से ज्यादा युवा हैं जिनकी उम्र 35 साल से कम है। हम दुनिया को स्किल दिखा सकते हैं लेकिन इसके लिए हुनर जरूरी है। यूपी बीजेपी के तमाम बड़े नेता रैली में मौजूद हैं। मोदी इस रैली में नोटबंदी के बाद विपक्ष के आरोपों का जवाब दे सकते हैं। आइए एक नजर डालते हैं मोदी के मुख्य अंश पर…..
हमारा एजेंडा भ्रष्टाचार-काला धन बंद करने के लिए है
हमारा एजेंडा है भ्रष्टाचार बंद हो, लेकिन उनका एजेंडा है कि संसद बंद हो। पहले की सरकारों के पास केवल अपने लिए समय था, हम पहले दिन से जो योजनाएं लाए हैं, वो सारी गांव के गरीब, शोषित, वंचित, माताओं-बहनों के लिए केंद्रित हैं। उत्तर प्रदेश के युवाओं को सशक्त बनाने के लिए कई योजनाएं शुरू की गई हैं। जो देश नौजवान हो वह देश दुनिया के सामने अपनी ताकत का परिचय करवा सकता है। 30 साल तक देश में स्थिर सरकार नहीं थी। समझौते से गाड़ी चल रही थी। फैसले नहीं होते थे। एक दूसरे को मनाने का दौर चलता रहता था।
पहले भी संसद में व्यवधान आता था क्योंकि घोटाले के खिलाफ आवाज उठती थी। पहली बार हुआ कि बेईमानों को बचाने के लिए संसद नहीं चलने दी। अपने काम का ब्यौरा न देने पाने वाले लोगों ने संसद नहीं चलने दी। राजनीतिक स्वार्थ के लिए संसद की गरिमा को चोट पहुंचाना सामान्य नहीं है। हमरा अजेंडा है करप्शन बंद हो। ब्लैक मनी बंद हो। उनका अजेंडा है संसद बंद हो। पूरे महीने संसद नहीं चलने दी। राष्ट्रपति के बोलने के बाद भी हो-हल्ला करते रहे। ऐसा इसलिए किया, क्योंकि वह डर रहे थे।
सरकार गुंडागर्दी को बढ़ावा दे रही है
सामान्य लोगों को परेशान करने वाले लोग चुप नहीं बैठेंगे और चुनाव में वे चुनाव में अनाप-शनाप सब करेंगे, लेकिन ईमानदार लोग परिवर्तन लाकर रहेंगे। यूपी के लोग गुंडागर्दी से तंग आ चुके हैं। हर कोई गुंडागर्दी कर रहा है। सरकार में बैठे लोग गुंडागर्दी करने वालों को शह दे रहे हैं। मकान छीन लिया जाए, जमीन छीन लिया जाय, आम आदमी जाएगा कहां। जब तक सरकार नहीं बदलोगे, तब तक इस पर लगाम नहीं लगेगी।
जब सीताराम केसरी कोषाध्यक्ष थे, तो कांग्रेस के लोग ही बोलते थे, ‘न खाता न बही, केसरी कहे वही सही’। अब छोटे नोट भी पूछे जाते हैं और छोटे लोगों की भी पूछ बढ़ गई है। नवंबर को हमने नोटबंदी का निर्णय लिया। इसमें गरीबों को लूटने वालों के पसीने छूट गए। भ्रष्टाचार और कालेधन के खिलाफ लड़ाई हमें जीतनी है। हमारे देश की बर्बादी के मूल में यही बीमारी है जिसने गरीब को गरीब रहने के लिए मजबूर किया। चुनावी चंदे पर चुनाव आयोग की पहल का स्वागत है। राजनीति दलों को चंदा कैसे मिलना चाहिए। चंदे का हिसाब किताब कैसे होना चाहिए। मैंने ऑल पार्टी मीटिंग में कहा था कि इस पर संसद में चर्चा होनी चाहिए। लेकिन सदन नहीं चलने दिया गया।
50 दिन होगी परेशानी
मैंने पहले दिन कहा था कि 50 दिन परेशानियां आएंगी। इसके बाद मुश्किलें कम होनी शुरू हो जाएंगी। मैं जानता हूं इतने बड़े देश के लिए नोटबंदी बड़ा निर्णय था। आपने जो कष्ट झेला है, देश की भलाई के लिए झेला है, इसलिए आप निराश नहीं होंग। कुछ लोगों को लगता था कि बैंक में पैसे डाल दिए तो सफेद हो गए, लेकिन वे लोग फंस गए हैं। हम उन्हें तकनीक से ढूंढ रहे हैं। पहले दूध में भी यूरिया मिलाया जाता था, यूरिया का उपयोग किसानों के बजाए दूध में होने लगा था। यूरिया की नीम कोटिंग करने के बाद अब उसका कोई और उपयोग नहीं हो सकता है। पीएम मोदी ने नोटबंदी के फैसले को फिर बताया गरीब समर्थक।
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