सॉफ्ट ड्रिंक बनाने वाली कंपनी पेप्सी और कोका अब तमीराबारनी नदी के पानी इस्तेमाल नहीं कर पाएंगे। मद्रास हाईकोर्ट ने दोनों कंपनियों को नदी का पानी यूज़ न करने का आदेश दिया है। बता दें कि हाईकोर्ट ने एक जनहित याचिका पर सुनवाई के दौरान यह फ़ैसला दिया है। अभी तक दोनों ही कंपनियों की ओर से इस मामले पर किसी भी प्रकार की कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है।
याचिकाकर्ता की मांग, पेप्सी और कोको कोला की बिक्री पर लगे रोक
मद्रास हाईकोर्ट की मदुरै पीठ में यह जनहित याचिका तिरूनेलवेली उपभोक्ता संरक्षण एसोसिएशन के सचिव प्रभाकर ने दायर की है। अपनी याचिका में प्रभाकर दोनों कंपनियों पर कई गंभीर आरोप लगाए हैं। याचिकाकर्ता का कहना है कि दोनों ही कंपनियां 1000 प्रति लीटर पानी निकालने पर महज 37.50 पैसे ही भुगतान करती हैं। याचिकाकर्ता के अनुसार,इस पानी से बने पेय को कंपनियां ऊंची कीमतों पर बेचती हैं। इतना ही नहीं याचिकाकर्ता ने यह भी मांग की है कि कोका कोला और पेप्सी की बिक्री पर रोक लगे।
किसानों पर पड़ रहा है बुरा असर
याचिकाकर्ता के अनुसार दोनों कंपनियों इस व्यवहार से राज्य के किसानों पर नकारात्मक असर पड़ रहा है। पांच जिलों के किसानों के पास खेती के लिए पानी तक नहीं बचा है। याचिकाकर्ता ने बताया कि राज्य के पीडब्ल्यूडी (पब्लिक वर्कस डिपार्टमेन्ट) ने सीपकोट (स्टेट इंड्रस्ट्रीज प्रोमोशन कॉरपोरेशन ऑफ तमिलनाडु) को ऐसी किसी भी प्रकार की अनुमति नहीं दी थी कि वह कंपनियों को पानी उपलब्ध कराए। इसके बावजूद सीपकोट ने कंपनियों को नदी से पानी लेने दिया। बता दें कि इस समय तमिलनाडु में पानी की कमी महसुस कर रहा है। तमिलनाडु कर्नाटक जैसे राज्यों पर पानी के लिए निर्भर है। हाल ही में कर्नाटक और तमिलनाडु के बीच पानी को लेकर विवाद हुआ था।